स्पेशलिस्ट डॉक्टरों को मोटी सैलरी का ऑफर

रायपुर। बस्तर और सरगुजा के जिला अस्पतालों में विशेषज्ञों के खाली पदों को भरने के लिए ढाई लाख की सैलेरी का बड़ा पैकेज दिया जाएगा। ये सैलरी मेडिकल कॉलेज के डीन से ज्यादा है। डीन का वेतन लगभग सवा दो लाख है। नया पैकेज संविदा में नियुक्त होने वाले स्त्री रोग और बच्चों के स्पेशलिस्ट डॉक्टरों के लिए तय किया गया है। आकर्षक वेतन के साथ डाक्टरों के रहने की भी बेहतर व्यवस्था की जाएगी। उनके लिए हॉस्टल बनाया जाएगा। राज्य के जिला अस्पतालों में विशेषज्ञों के 110 पद खाली हैं। नेशनल हेल्थ मिशन (एनएचएम)विशेषज्ञ डॉक्टरों के खाली पदों को भरने के लिए जल्द ही विज्ञापन जारी करने वाला था, लेकिन डॉक्टरों की खींचतान से इसमें पेंच आ गया है।

डॉक्टरों की एक लॉबी इसके विरोध में हैं। उनका तर्क है कि केवल स्त्री रोग और बच्चों के स्पेशलिस्ट डाक्टरों को ही क्यों देने की तैयारी है। हड्डी रोग, मेडिसिन, सर्जरी और नेत्ररोग विभाग सभी के स्पेशलिस्ट का उतना ही महत्व है। उन्हें भी इतना ही वेतन दिया जाना चाहिए। यही वजह है कि एनएचएम विज्ञापन जारी नहीं कर पा रहा है।

गौरतलब है कि बस्तर और सरगुजा के स्त्री व बच्चों के स्पेशलिस्ट डॉक्टरों को अभी डेढ़ लाख वेतन दिया जा रहा है। इसके बावजूद राज्य के 26 जिला अस्पतालों में लंबे अर्से से विशेषज्ञों के 100 से ज्यादा पद खाली हैं। पिछले तीन साल से इन पदों को भरने के लिए प्रयास किए जा चुके हैं, लेकिन डाक्टरों ने दिलचस्पी नहीं दिखाई। स्पेशलिस्ट डाक्टर सरगुजा और बस्तर जैसे आदिवासी बहुल जिलों के अस्पतालों में जाकर सेवाएं दें, इसके लिए एनएचएम ने वेतन का बड़ा पैकेज तय किया है। सरकार से इसकी अनुमति मिल गई है।

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